ओलंपिक खेल अतीत और वर्तमान
2020 ग्रीष्मकालीन ओलंपिक, आधिकारिक तौर पर 32वें ओलंपियाड के खेल, 23 जुलाई से 8 अगस्त, 2021 तक जापान के टोक्यो में आयोजित किए जा रहे हैं. इन खेलों का आयोजन मूल रूप से 2020 में होना था, लेकिन कोविड-19 महामारी के कारण इन्हें स्थगित कर दिया गया था. 2020 के खेलों में जापान दूसरी बार ग्रीष्मकालीन ओलंपिक खेलों की मेजबानी कर रहा है. पहली बार उसने 1964 में इन खेलों की मेजबानी की थी. टोक्यो इस बार फिर इन खेलों का आयोजन कर, दो बार ग्रीष्मकालीन ओलंपिक का आयोजन करने वाला एशिया का पहला शहर बन गया है. टोक्यो खेलों के शुभंकर का नाम मिराईटोवा है. जापानी शब्द मिराई का अर्थ है भविष्य और तोवा का अर्थ है शाश्वतता, जो इस इच्छा का प्रतिनिधित्व करता है कि टोक्यो 2020 ओलंपिक खेल दुनिया भर में सभी के दिलों में चिरस्थायी आशा के भविष्य की ओर ले जाएंगे.
ओलंपिक क्या है?
ओलंपिक खेल हर चार साल बाद होने वाला अंतरराष्ट्रीय बहु-खेल आयोजन है जिसे दुनियाभर के लोग वैश्विक खेल उत्सव के रूप में मनाते हैं. ये खेलों का सबसे बड़ा उत्सव है जिसमें बड़ी संख्या में विभिन्न राष्ट्रों के खिलाड़ी और लोग एक ही स्थान पर एक ही समय में एकत्र होते हैं.
इस आयोजन की जड़ें 2,000 से अधिक साल पहले हुए प्राचीन ओलंपिक खेलों से जुड़ी हैं. इसे ओलंपियाड के रूप में भी जाना जाता है, यह आयोजन प्राचीन ग्रीस के ओलंपिया क्षेत्र में हुआ था. ऐसा माना जाता है कि यह आयोजन एक एथलेटिक और कलात्मक उत्सव था जो देवताओं की पूजा को समर्पित था. हालांकि, प्राचीन ओलंपिक खेल कई संघर्षों से बाधित हुए और अंत में 393 ईस्वी में समाप्त हो गए. पंद्रह सौ साल बाद 1892 में, बैरन पियरे डी कौबर्टिन नामक एक फ्रांसीसी शिक्षक ने ओलंपिक को फिर से शुरू करने का आंदोलन आरंभ किया. ओलिंपिक खेलों को बहाल करने के लिए डी कौबर्टिन के विचार को 1894 में पेरिस में अंतरराष्ट्रीय कांग्रेस में दर्शकों के सामने प्रस्तुत किया गया था और इसे सर्वसम्मति से मंजूरी दी गई थी. दो साल बाद प्राचीन ओलंपिक खेलों की मातृभूमि एथेंस, ग्रीस में पहले आधुनिक ओलंपिक खेलों का आयोजन किया गया. पहले खेलों की तारीख, 1896 ने एक असाधारण साहसिक कार्य की शुरुआत को चिह्नित किया, जो अब एक सदी से भी अधिक समय तक चला है. इस प्रकार डी कौबर्टिन को ओलंपिक के जनक के रूप में सम्मानित किया जाता है.
खेलों के पांच छल्ले क्या दर्शाते हैं?
ओलंपिक खेलों का जाना-माना प्रतीक- पांच छल्ले दुनिया के पांच महाद्वीपों की एकजुटता को व्यक्त करते हैं. इस प्रतीकचिह्न की रचना बैरन डी कौबर्टिन ने ही की थी. ओलंपिक चार्टर के अनुसार, ओलंपिक प्रतीक में समान आयामों (ओलंपिक रिंग) के ये पांच छल्ले बाएं से दाएं आपस में जुड़े होते हैं. ये एक या पांच अलग-अलग रंगों में होते हैं. जब पांच-रंगों का उपयोग किया जाता है, तो ये रंग बाएं से दाएं, नीले, पीले, काले, हरे और लाल रंग के होंगे. सबसे ऊपर नीले, काले तथा लाल रंग के और सबसे नीचे पीले तथा हरे रंग के छल्ले होते हैं. चार्टर के अनुसार ओलंपिक प्रतीक चिह्न ओलंपिक आंदोलन की गतिविधि को व्यक्त करता है और पांच महाद्वीपों के संघ तथा ओलंपिक खेलों में दुनियाभर के खिलाड़ियों के मिलन का प्रतिनिधित्व करता है. पिछले कई वर्षों में प्रतीक चिह्न में कई बदलाव किए गए हैं. वर्तमान में ओलंपिक रिंग के सात आधिकारिक संस्करण हैं. इसकी सफेद पृष्ठभूमि पर पूर्ण-रंगीन प्रारूप पसंदीदा संस्करण है.
अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) क्या है?
अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आईओसी) ओलंपिक खेलों की संरक्षक और ओलंपिक आंदोलन की अगुआ है. 23 जून 1894 को स्थापित, यह समिति एक गैर-लाभकारी स्वतंत्र अंतरराष्ट्रीय संगठन है. ओलंपिक राजधानी लॉजेन, स्विट्जरलैंड स्थित, यह समिति पूरी तरह से निजी तौर पर वित्त पोषित है और सभी स्तरों पर खेलों तथा खिलाड़ियों के विकास के लिए अपने राजस्व का 90 प्रतिशत व्यापक खेल आंदोलन को वितरित करती है. संगठन सभी ओलंपिक हितधारकों के बीच सहयोग के लिए उत्प्रेरक के रूप में कार्य करता है जिनमें खिलाड़ी, राष्ट्रीय ओलंपिक समितियां, अंतरराष्ट्रीय संघ, ओलंपिक खेलों की आयोजन समितियां, विश्वव्यापी ओलंपिक भागीदार और ओलंपिक प्रसारण भागीदार शामिल हैं. समिति संयुक्त राष्ट्र और अन्य अंतरराष्ट्रीय संगठनों सहित सार्वजनिक और निजी प्राधिकरणों के साथ भी सहयोग करती है.
ओलंपिक में कौन से खेल हैं?
ओलंपिक कार्यक्रम में ओलंपिक खेलों के सभी खेल शामिल हैं. आईओसी कार्यक्रम तय करती है और फैसला करती है कि किन खेलों को शामिल किया जाएगा. आईओसी को किसी भी खेल को शामिल करने या हटाने का भी अधिकार है. ओलंपिक कार्यक्रम में शामिल होने के लिए, खेल किसी ऐसे अंतरराष्ट्रीय संघ द्वारा शासित किया जाना चाहिए जो ओलंपिक चार्टर का अनुपालन करता हो और विश्व डोपिंग रोधी संहिता लागू करता हो. यदि कोई खेल दुनियाभर में व्यापक रूप से प्रचलित है और आईओसी सत्र द्वारा स्थापित मानदंडों को पूरा करता है, तो ऐसे मान्यताप्राप्त खेल को ओलंपिक कार्यक्रम में जोड़ा जा सकता है.
एथेंस में 1896 के कार्यक्रम में नौ खेल थे: एथलेटिक्स, साइकिल चलाना, फेंसिंग, जिम्नास्टिक, भारोत्तोलन, कुश्ती, तैराकी, टेनिस और निशानेबाजी. तब से ओलंपिक कार्यक्रम एक लंबी यात्रा तय कर चुका है: कुछ खेलों को बंद कर दिया गया है (जैसे, पोलो और बेसबॉल), कई अन्य को हटा दिया गया और फिर से शुरू किया गया (जैसे, तीरंदाजी और टेनिस), जबकि कई नए खेल शामिल किए गए हैं (जैसे, ट्रायथलॉन और तायक्वांडो). ग्रीष्मकालीन खेलों के कार्यक्रम में दो प्रमुख खेल एथलेटिक्स और तैराकी हैं. एथलेटिक्स में स्पर्धाओं की एक विस्तृत शृंखला होती है: कूदना, फेंकना और दौड़ना- मध्यम तथा लंबी दूरी की दौड़. शीतकालीन खेलों में बोबस्लेग, कर्लिंग, आइस हॉकी, फिगर तथा स्पीड स्केटिंग, स्कीइंग (क्रॉस-कंट्री और स्की जंपिंग) और सैन्य गश्ती दौड़ जैसे खेल शामिल हैं. शीतकालीन खेलों के कार्यक्रम में तीन मुख्य खेल स्केटिंग, स्कीइंग और आइस हॉकी हैं.
ग्रीष्मकालीन और शीतकालीन खेल क्या हैं?
ओलम्पिक खेलों का आयोजन ग्रीष्म तथा शीतकाल दोनों में होता है. ओलंपिक में ओलंपियाड के खेल (यानी ग्रीष्मकालीन खेल) और ओलंपिक शीतकालीन खेल शामिल हैं. आधुनिक ग्रीष्मकालीन खेलों का पहला संस्करण 1896 में एथेंस (ग्रीस) में और पहला ओलंपिक शीतकालीन खेल 1924 में शैमोनिक्स (फ्रांस) में आयोजित किया गया था. ओलंपियाड शब्द चार साल की अवधि को दर्शाता है. 1992 तक, ग्रीष्मकालीन और शीतकालीन खेल एक ही वर्ष में आयोजित किए जाते थे, लेकिन इसके बाद से, शीतकालीन खेलों को ग्रीष्मकालीन खेलों से दो साल आगे बढ़ा दिया गया था. ग्रीष्मकालीन और शीतकालीन खेलों का आयोजन हर चार साल में एक बार किया जाता है. ग्रीष्मकालीन खेलों में, खिलाड़ी ट्रैक, सड़क, घास तथा पानी पर और पानी में, खुली हवा में तथा भवन के अंदर, कुल 28 खेलों में विभिन्न प्रकार की प्रतियोगिताओं में प्रतिस्पर्धा करते हैं. शीतकालीन खेलों में अंदर और बाहर दोनों जगह बर्फ पर अभ्यास किए जाने वाले सात खेल होते हैं.
टोक्यो 2020 के लिए किन भारतीय खिलाड़ियों ने क्वालीफाई किया है?
तीरंदाजी
1. पुरुषों की रिकर्व (व्यक्तिगत) स्पर्धा: तरुणदीप राय, अतानु दास, प्रवीण जाधव
2. महिलाओं की रिकर्व (व्यक्तिगत) स्पर्धा: दीपिका कुमारी
3. पुरुष टीम: तरुणदीप राय, अतानु दास, प्रवीण जाधव
4. मिश्रित टीम: प्रतिस्पर्धा के योग्य
एथलेटिक्स
1. पुरुषों की 20 किमी रेस वॉक: के.टी. इरफान, संदीप कुमार, राहुल रोहिल्ला
2. महिलाओं की 20 किमी रेस वॉक: भावना जाट, प्रियंका गोस्वामी
3. पुरुषों की 3000 मीटर स्टीपलचेज: अविनाश सेबल
4. मिश्रित 4 & 400 मीटर रिले (टोक्यो 2020 में पदार्पण करते हुए) - मोहम्मद अनस, वी.के. विस्मय, जिस्ना मैथ्यू, नोआ तोम
5. पुरुषों की भाला फेंक: नीरज चोपड़ा, शिवपाल सिंह
6. पुरुषों की लंबी कूद: मुरली श्रीशंकर
7. पुरुषों की शॉट पुट: तजिंदरपाल सिंह तूर
8. महिलाओं की डिस्कस थ्रो: कमलप्रीत कौर
बैडमिंटन
1. महिला एकल: पीवी सिंधु
2. पुरुष एकल: बी साई प्रणीत
3. पुरुष युगल: सात्विक साईराज रंकीरेड्डी और चिराग शेट्टी
मुक्केबाजी
महिला: पूजा रानी (75 किग्रा), लवलीना बोरगोहेन (69 किग्रा), सिमरनजीत कौर (60 किग्रा), मैरी कॉम (51 किग्रा)
पुरुष: सतीश कुमार (91 किग्रा), आशीष कुमार (75 किग्रा), विकास कृष्ण (69 किग्रा), मनीष कौशिक (63 किग्रा), अमित पंघाल (52 किग्रा)
घुड़सवारी फौआद मिर्जा 20 साल में ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करने वाले पहले भारतीय घुड़सवार हैं.
फेंसिंग भवानी देवी ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करने वाली पहली भारतीय फेंसर बनीं.
हॉकी
1. पुरुषों की राष्ट्रीय टीम
2. महिला राष्ट्रीय टीम
यह भारतीय पुरुष हॉकी टीम को शामिल करने वाली 20वीं ओलंपिक खेलों की सूची होगी, जो विश्व रैंकिंग में चौथे स्थान पर है, जबकि महिला टीम तीसरी बार और लगातार दूसरी बार इसमें शामिल हो रही है.
गोल्फ
अनिर्बान लाहिड़ी और अदिति अशोक क्रमश: पुरुष और महिला वर्ग में हैं.
जिम्नास्टिक
प्रणति नायक ओलंपिक के लिए क्वालीफाई करने वाली दूसरी भारतीय महिला जिम्नास्ट हैं.
जूडो
महिलाओं की एक्स्ट्रा-लाइटवेट (48 किग्रा) स्पर्धा: सुशीला देवी लिक्माबा
निशानेबाजी
1. महिलाओं की 10 मीटर एयर राइफल: अंजुम मुदगिल, अपूर्वी चंदेला
2. पुरुषों की 10 मीटर एयर राइफल: दिव्यांश सिंह पंवार, दीपक कुमार
3. महिलाओं की 50 मीटर राइफल थ्री पोजीशन: तेजस्विनी सावंत
4. पुरुषों की 50 मीटर राइफल थ्री पोजीशन: संजीव राजपूत, ऐश्वर्या प्रताप सिंह तोमर
5. महिलाओं की 10 मीटर एयर पिस्टल: मनु भाकर, यशस्विनी सिंह देसवाल
6. पुरुषों की 10 मीटर एयर पिस्टल: सौरभ चौधरी, अभिषेक वर्मा
7. महिलाओं की 25 मीटर पिस्टल: राही सरनोबत, एलावेनिल वालारिवान
8. पुरुषों की स्कीट: अंगद वीर सिंह बाजवा, मैराज अहमद खान
रोइंग
पुरुषों की लाइटवेट डबल स्कल्स: अर्जुन जाट और अरविंद सिंह
नौकायन
लेजर रेडियल: नेत्र कुमानन
लेजर स्टैंडर्ड: विष्णु सरवानन
फोर्टीनाइनर: केसी गणपति और वरुण ठक्कर
तैराकी
200 मीटर बटरफ्लाई: साजन प्रकाश
टेबल टेनिस
पुरुष एकल: शरत कमल, सादियान ज्ञानसेकरन
महिला एकल: सुतीर्थ मुखर्जी, मनिका बत्रा
मिश्रित युगल: शरत कमल और मनिका बत्रा
भारोत्तोलन
महिलाओं की 49 किग्रा: मीराबाई चानू
कुश्ती
1. महिलाओं की फ्रीस्टाइल: सीमा बिस्ला (50 किग्रा), विनेश फोगट (53 किग्रा), अंशु मलिक (57 किग्रा), सोनम मलिक (62 किग्रा)
2. पुरुषों की फ्रीस्टाइल: रवि कुमार दहिया (57 किग्रा), बजरंग पुनिया (65 किग्रा), दीपक पुनिया (86 किग्रा)
(चयन प्रक्रिया के अनुरूप सूची में और नाम जोड़े जा सकते हैं)
ओलंपिक के बारे में सामान्य जानकारी
· आधुनिक ओलंपिक खेल लंबे समय तक केवल शौकिया खिलाड़ियों के लिए थे. आईओसी ने 1984 में (लॉस एंजिल्स खेलों के लिए) इस नियम को समाप्त कर दिया, और तब से पेशेवर खिलाड़ी भी इस आयोजन में भाग ले सकते हैं.
· प्राचीन ग्रीस की तरह, आधुनिक ओलंपिक खेलों के पहले आयोजन में कोई महिला खिलाड़ी नहीं थी. पेरिस (फ्रांस) में 1900 ओलंपिक खेलों में महिलाओं ने टेनिस और गोल्फ से शुरुआत की. लंदन में 2012 के खेलों तक, महिलाओं की मुक्केबाजी की शुरुआत के साथ, महिलाएं सभी खेलों में प्रतिस्पर्धा कर सकती थीं. एथेंस में 2004 के खेलों के बाद से, खेलों में 40 प्रतिशत से अधिक महिला खिलाड़ी रही हैं.
· स्टॉकहोम (स्वीडन) में 1912 के खेल में पहली बार पांच महाद्वीपों के राष्ट्रीय प्रतिनिधिमंडलों की उपस्थिति दर्ज की गई थी. आधुनिक ओलंपिक खेलों की सार्वभौमिकता का आश्वासन दिया गया था.
· आईओसी ने 29 शरणार्थी खिलाड़ियों की सूची को मंजूरी दी है जो ओलंपिक ध्वज के तहत टोक्यो में प्रतिस्पर्धा करेंगे. ओलंपियन और पूर्व मैराथन विश्व-रिकॉर्ड धारक, केन्या के तेगला लोरूपे, आईओसी शरणार्थी ओलंपिक टीम के शेफ डी मिशन होंगे. इन खिलाड़ियों को वर्तमान में आईओसी द्वारा समर्थित शरणार्थी खिलाड़ियों के लिए ओलंपिक छात्रवृत्ति कार्यक्रम के माध्यम से चुना गया था. 23 जुलाई को उद्घाटन समारोह के दौरान, 12 खेलों में प्रतिस्पर्धा करने वाली 13 राष्ट्रीय ओलंपिक समितियों सेे शरणार्थी खिलाड़ी, ग्रीस के तुरंत बाद दूसरे स्थान पर स्टेडियम में प्रवेश करेंगे.
(संकलन: अनीशा बनर्जी और अनुजा भारद्वाजन)
(स्रोत: Olympics.com)